सिंध के मुख्यमंत्री ने लगाया अस्पतालों में आपातकाल
पवित्र माह रमजान शुरू हो गया है और इस बार दो अलग-अलग उर्दू अखबारों में इसे लेकर दो खबरें छपी हैं। एक खबर कराची से है जहां रमजान में भयानक गर्मी पड़ रही है, जिससे मरने वालों की तादाद 132 हो गई है। ऐसा तड़पाती गर्मी में बिजली कटौती ने अलग परेशान कर रखा है। दूसरी खबर दिल्ली से है कि रमजान आते ही फलों की कीमतों में इजाफा हो गया है।
कराची में पारा 45 पर
रमजान के दौरान कराची में भयानक गर्मी के बीच बिजली कटौती ने लोगों की जान अजाब में डाल रखी है। इस बारे में पाकिस्तान के बड़े उर्दू अखबार जंग के अलावा दीगर मीडिया में भी खबरें आ रही हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक शदीद
गर्मी के चलते पिछले दो दिनों के दौरान सिर्फ कराची में 132 से ज्यादा लोगों की मौतें हो गई हैं, जबकि पूरे सूबे सिंध में और अधिक मौतें दर्ज की गई हैं। मुल्क के कई हिस्सों से बिजली गायब है। कराची में बीते इतवार को भी रिकॉर्ड गर्मी थी। इस दिन शहर में पारा 45 डिग्री तक पहुंच गया था, जो रोजेदारों के लिए किसी इम्तिहान से कम नहीं था। मुल्क के इस तिजारती शहर की ऐसी बदतर हालत देख सिंध के मुख्यमंत्री ने अस्पतालों में इमर्जेंसी लगा दी है। जिन्नाह अस्पताल के संयुक्त अनुविभागीय निदेशक और दुर्घटना विभाग प्रमुख डॉक्टर सीमी जमाली ने बताया कि अस्पताल में गर्मी से प्रभावित मरीजों की तादाद बहुत ज्यादा होने से बिस्तर कम पड़ गए तथा हमें बिस्तर मंगाने पड़े। मरने वालों में वृद्धों की तादाद ज्यादा है, जिन्हें तेज बुखार और उल्टी की शिकायत थी, जबकि गर्मी के कारण पहले से बीमार लोगों की तबीयत भी बिगड़ी है।
इसके अलावा सिर्फ इतवार को कराची के अब्बासी शहीद अस्पताल में 20 मौतें हुईं। सिविल अस्पताल में 16 मृत तो लियारी जनरल अस्पताल में 09 मृत लोगों को लाया गया। समाजसेवी संस्था ऐधी फाउंडेशन के सर्दखाने (मुर्दाघर) में भी खासी तादाद में शव पहुंचाए गए। सिविल अस्पताल के डीएमएस डॉ. ठाकुरदास के मुताबिक गर्मी लगने, डायरिया व गैस्ट्रो के मरीज बड़ी तादाद में अस्पताल लाए जा रहे हैं।
इस तेज गर्मी के सबब कराची यूनिवर्सिटी के इम्तिहान रद्द कर दिए गए हैं। परीक्षा प्रबंधक प्रो. डॉ. अरशद आजमी के मुताबिक शदीद गर्मी और बिजली कटौती की चलते सोमवार से शुरू होने वाले तमाम इम्तिहानात रद्द कर दिए गए हैं। बिजली कटौती के विरुद्ध शहर के मुख्तलिफ इलाकों में प्रदर्शन भी किए जा रहे हैं।
रमजान में बढ़ी फलों की कीमतें
दिल्ली से आई खबर के मुताबिक रमजान शुरू होते ही फलों की कीमतें 20 से 25 फीसदी तक बढ़ गई हैं। इस वक्त सेब 160 से 200 रुपए किलो, लीची 100 से 120 रु, आम 40 से 80, पपीता 30 से 50, चीकू 30-40 रु. किलो तक बिक रहे हैं। जामुन के भाव 140 से 180 रुपए किलो हैं। इसके अलावा इस बार खजूरों की कीमतों में भी खासा इजाफा हुआ है। मुख्तलिफ किस्म की खजूरें 100 से लेकर 400 रुपए किलो तक बिक रही हैं। दिल्ली, खासकर मुस्लिम बहुल क्षेत्रों में फलों के बाजार सजे हुए हैं क्योंकि इफ्तारी के वक्त लोग फल खाना भी पसंद करते हैं। दिल्ली से शाए होने वाले उर्दू अखबार राष्ट्रीय सहारा ने इस बाबत खबर छापी है और इसे फुटकर व्यापारियों द्वारा की गई बढ़ोतरी बताया है। अखबार के मुताबिक थोक मंडी के व्यापारियों का कहना है कि इस एक सप्ताह में फलों के दाम में कोई वृद्धि नहीं हुई है। जो दाम बढ़े हैं वे स्थानीय स्तर पर मांग के मान से हैं और फुटकर दुकानदारों ने बढ़ाए हैं। दाम किसी ने भी बढ़ाए हों, लेकिन इसका खमियाजा रोजेदारों को महंगे फल खरीदकर भुगतना पड़ रहा है।
22-06-2015
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